गढूँगा अपने नायक,बिम्ब और प्रतीक
- 1 March, 2021
शेयर करे close
Share on facebook
Share on twitter
Share on reddit
Share on tumblr
Share on linkedin
शेयर करे close
Share on facebook
Share on twitter
Share on reddit
Share on tumblr
Share on linkedin
शेयर करे close
Share on facebook
Share on twitter
Share on tumblr
Share on linkedin
Share on whatsapp
https://nayidhara.in/kavya-dhara/hindi-poem-about-i-will-create-my-heroes-images-and-symbols-by-surajpal-chauhan/
- 1 March, 2021
गढूँगा अपने नायक,बिम्ब और प्रतीक
लो-सँभालो
अपने देवी और देवता
मैं छोड़ रहा हूँ
पूजा-अर्चना करने का
पूरा का पूरा ढकोसला।
मैं जान गया हूँ
तुम्हारी व्यवस्था से
मेरा
दूर-दूर तक नहीं है नाता
फिर क्यों गाता फिरूँ
तुम्हारे
काल्पनिक भगवानों की गाथा।
तुम्हारे
अमानवीय साहित्य के
क्यों पढ़ूँ गीत
अब गढ़ूँगा
अपने नायक, बिंब
और प्रतीक।
Image : Bearded Man Stepping Down
Image Source : WikiArt
Artist : Jacob Jordaens
Image in Public Domain